पब्लिक प्रॉविडेंट फंड (PPF) दीर्घ अवधि निवेश (Invest) के लिए एक बेहतर निवेश माना जाता है. अच्छी ब्याज दर के साथ टैक्स छूट भी इसमें मिलती है. मैच्योरिटी पीरियड पूरा होने से पहले भी इसे कुछ विशेष परिस्थितियों में बंद करने की सुविधा उपलब्ध है.
नई दिल्ली. पब्लिक प्रोविडेंट फंड (Public Provident Fund) को लंबी अवधि के निवेश के लिए एक बेहतर विकल्प है. पीपीएफ (PPF) में जहां ठीक ब्याज मिलता है, वहीं निवेश किए जाने वाले पैसे, उस पर मिलने वाले ब्याज और मैच्योरिटी पीरियड पूरा होने पर मिलने वाली रकम पर टैक्स छूट भी मिलती है. इसी कारण यह निवेशकों के बीच काफी लोकप्रिय है.
PPF का मैच्योरिटी पीरियड 15 साल का होता है. कुछ लोगों को यह गलतफहमी है कि इसमें लगाया गया पैसा बीच में नहीं निकाला जा सकता. उनकी यह धारणा बिल्कुल गलत है. पीपीएफ मैच्योरिटी पीरियड (PPF Maturity Period) पूरा होने से पहले भी कुछ विशेष परिस्थितियों में इसे बंद कराया जा सकता है. आइए जानते हैं कि किन परिस्थितियों में इसमें से पहले ही पैसा निकाला जा सकता है और इसकी प्रक्रिया क्या है?
इन परिस्थितियों में पहले निकाला जा सकता है पैसा
PPF खाताधारक पति-पत्नी और बच्चों के बीमार होने की स्थिति में पैसा निकाल सकता है. इसके अलावा खाताधारक(Account Holders) अपने बच्चों की शिक्षा के लिए भी PPF अकाउंट से पूरा पैसा निकाल सकते हैं. अगर कोई खाताधारक अनिवासी भारतीय (NRI) बन जाए तो भी वह अपना पीपीएफ अकाउंट बंद (PPF Account Close) कर सकता है.
5 साल बाद ही निकाल सकते हैं पैसा
कोई भी खाताधारक पीपीएफ खाते (Account Holders PPF) को खुलवाने के 5 साल पूरे होने के बाद ही इसे बंद करा सकता है. अगर मैच्योरिटी पीरियड से पहले इसे बंद किया जाएगा तो खाता खोलने की तारीख से लेकर खाता बंद करने की तारीख तक 1 फीसदी ब्याज काटा जाएगा. अगर अकाउंट होल्डर (Account Holders) की मौत PPF अकाउंट के मैच्योर होने से पहले हो जाती है तो खाताधारक (Account Holder) के नॉमिनी पर यह पांच साल की शर्त लागू नहीं होती. नॉमिनी पांच साल से पहले ही पैसा निकाल सकता है. खाताधारक (Account Holder) की मृत्यु के बाद अकाउंट को बंद कर दिया जाता है. नॉमिनी (Nomne) को उसे जारी रखने का अधिकारी नहीं है.
खाता बंद कराने की प्रक्रिया
अगर कोई खाताधारक मैच्योरिटी पीरियड (Account Holder Maturity Period) से पहले पैसा निकालना चाहता है तो उसे फॉर्म भरकर डाकघर या बैंक में जमा करना होगा, जहां आपका पीपीएफ अकाउंट (PPF Account) है. पासबुक की फोटोकॉपी और ओरिजिनल पासबुक की भी जरूरत पड़ती है. अगर खाताधारक (Account Holder) की मौत के चलते PPF खाता बंद कराया गया है तो ब्याज खाता बंद (Account Close) कराने वाले महीने के खत्म होने तक मिलता है.
पीपीएफ की ब्याज दर
PPF अकाउंट पर मौजूदा ब्याज दर 7.1 फीसदी सालाना है. PPF में एक वित्त वर्ष में न्यूनतम 500 रुपये और अधिकतम 1.5 लाख रुपये तक जमा किए जा सकते हैं. एक व्यक्ति अपने नाम से सिर्फ एक पीपीएफ अकाउंट खोल (PPF Account Open) सकता है.
इसे भी पढ़ें : RBI New Guidelines! समय पर लोन न भरने वालों को RBI ने दी बड़ी राहत..जाने डिटेल्स…!